Friday, October 24, 2014

{ ८१२ } {Oct 2014}





ये दिल, ये जान, ये जज़्बात और ये तनहाई
यही अपनी दौलत है बोलो किसके नाम करूँ।

-- गोपाल कृष्ण शुक्ल

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